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एसकेआरएयू संगोष्ठी में ‘स्टबल चॉपर’ का लोकार्पण, जल्द शुरू होगा व्यावसायिक उत्पादन

राष्ट्रीय संगोष्ठी में गुजरात और राजस्थान के राज्यपाल करेंगे शिरकत

बीकानेर। स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय (एसकेआरएयू) में 29 और 30 अगस्त को आयोजित होने वाली राष्ट्रीय संगोष्ठी में प्राकृतिक खेती पर गहन चर्चा होगी। इस कार्यक्रम में राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ बागड़े और गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत शामिल होंगे। साथ ही केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री भागीरथ चौधरी, भारत सरकार के उद्यानिकी आयुक्त प्रभात कुमार, पूर्व कैबिनेट मंत्री देवी सिंह भाटी, महाराजा गंगा सिंह विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. मनोज दीक्षित, और राजुवास के पूर्व कुलपति डॉ. ए.के. गहलोत भी इस संगोष्ठी में हिस्सा लेंगे।

कुलपति डॉ. अरुण कुमार ने बुधवार को पत्रकारों को बताया कि विद्या मंडप सभागार में 29 अगस्त को सुबह 10:30 बजे राज्यपाल हरिभाऊ बागड़े संगोष्ठी का उद्घाटन करेंगे। इस अवसर पर राज्यपाल स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय द्वारा विकसित ‘स्टबल चॉपर कम स्प्रेडर’ का भी लोकार्पण करेंगे, जो पराली जलाने की समस्या का समाधान करने में मददगार साबित होगा। विश्वविद्यालय ने इस मशीन को कम लागत में विकसित किया है और इसका व्यावसायिक उत्पादन जल्द शुरू होगा।

संगोष्ठी का मुख्य उद्देश्य किसानों को प्राकृतिक खेती के प्रति जागरूक करना और इसे अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना है। विषय विशेषज्ञों द्वारा प्राकृतिक खेती की विधियों पर प्रस्तुति दी जाएगी, साथ ही सफल किसानों के अनुभव साझा किए जाएंगे। इस अवसर पर कुलसचिव डॉ. देवाराम सैनी, कृषि महाविद्यालय अधिष्ठाता डॉ. पी.के. यादव, अनुसंधान निदेशक डॉ. विजय प्रकाश, आईएबीएम निदेशक डॉ. आई.पी. सिंह, डीन पीजी डॉ. राजेश कुमार वर्मा, और विश्वविद्यालय के पीआरओ सुरेश बिश्नोई भी उपस्थित रहे।

डॉ. सैनी ने बताया कि संगोष्ठी के पहले दिन दोपहर 2 बजे से 5 बजे तक ‘प्राकृतिक खेती: परिचय व महत्व’ विषय पर तकनीकी सत्र आयोजित किया जाएगा, जिसमें प्राकृतिक खेती में देशी बीजों एवं मोटे अनाज का महत्व, प्राकृतिक खेती के तहत गन्ना उत्पादन, प्राकृतिक खेती और आयुर्वेद, जैविक और प्राकृतिक खेती के अनुभव विषय पर देश भर से आए विशेषज्ञ अपने व्याख्यान प्रस्तुत करेंगे। शाम को पोस्टर सत्र और सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किए जाएंगे।

संगोष्ठी के दूसरे दिन गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत समापन समारोह में शामिल होंगे। उस दिन ‘प्राकृतिक खेती प्रशिक्षण’ पर एक और तकनीकी सत्र भी आयोजित किया जाएगा। इसके बाद ‘प्राकृतिक खेती परिणाम, कृषक अनुभव, कृषक संवाद’ सत्र में विषय विशेषज्ञ बीज प्रबंधन, कीट नियंत्रण, भूमि सुपोषण और जैविक खेती पर जानकारी देंगे। 

संगोष्ठी के इन सत्रों के माध्यम से प्राकृतिक खेती के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की जाएगी और किसानों को इसकी ओर प्रेरित करने का प्रयास किया जाएगा।

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