देश की प्रगति में प्रत्येक नागरिक का योगदान अनिवार्य – डॉ पी सी पंचारिया
सीरी, पिलानी द्वारा सीकर में विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन

एम के मेमोरियल सीनियर सेकंडरी स्कूल में ‘मैं भी बनूं कलाम’ कार्यक्रम में विद्यार्थियों को किया प्रेरित
पिलानी। सीएसआईआर-केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिकी अभियांत्रिकी अनुसंधान संस्थान (सीरी) ने अटल टिंकरिंग लैब्स और जिज्ञासा मिशन के अंतर्गत मैं भी बनूं कलाम कार्यक्रम में सीकर के एम के मेमोरियल सीनियर सेकंडरी स्कूल में विज्ञान प्रदर्शनी एवं व्याख्यानमाला का आयोजन किया। विज्ञान प्रदर्शनी में सीएसआईआर-सीरी द्वारा विकसित समाजोपयोगी प्रौद्योगिकियों का प्रदर्शनकिया गया। संस्थान के वैज्ञानिकों ने विद्यार्थियों एवं अन्य गणमान्य अतिथियों को इन प्रौद्योगिकियों के बारे में जानकारी दी। इस कार्यक्रम में 1700 से अधिक विद्यार्थियों ने प्रतिभागिता की। इस अवसर पर सीकर के लोकसभा सांसद सुमेधानंद सरस्वती के अलावा विज्ञान भारती-राजस्थान के सचिव डॉ मेघेन्द्र शर्मा, बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर अंबरीश एस विद्यार्थी आदि उपस्थित थे।
कार्यक्रम में संबोधित करते हुए डॉ पी सी पंचारिया, निदेशक, सीएसआईआर-सीरी ने कहा कि राष्ट्र की प्रगति में प्रत्येक नागरिक का योगदान अनिवार्य है। उन्होंने अपने प्रेरक संबोधन में विद्यार्थियों को कहा कि यदि देश के 130 करोड़ नागरिक एक छोटा सा कदम बढ़ाते हैं तो देश कई कदम आगे बढ़ता है। उन्होंने आह्वान किया कि वैश्विक प्रतिस्पर्धा के इस दौर में हम सभी को अपना योगदान देना होगा। उन्होंने सभी विद्यार्थियों एवं अन्य अतिथियों को आगामी सीएसआईआर स्थापना दिवस के उपलक्ष्य में सीरी में आयोजित किए जाने वाले ‘ओपन डे’ में संस्थान की शोध गतिविधियों के बारे में जानने के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि यह शैक्षणिक भ्रमण आपको देश की शोध गतिविधियों की झलक देगा।
मैं भी बनूंगा कलाम कार्यक्रम के अंतर्गत आयोजित गतिविधि में अच्छा प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों को स्मृति चिह्न भेंट कर सम्मानित किया गया। कार्यक्रम में उपस्थित शिक्षकों, शिक्षा विभाग के अधिकारियों एवं विद्यार्थियों ने इस आयोजन के लिए सीएसआईआर-सीरी और विज्ञान भारती-राजस्थान की सराहना की और उनके प्रति आभार व्यक्त किया।
गौरतलब है कि स्कूली विद्यार्थियों को देश के सर्वश्रेष्ठ वैज्ञानिकों से सीखने का अवसर प्रदान करने के लिए अटल इनोवेशन मिशन के अंतर्गत अटल टिंकरिंग लैब्स की संकल्पना को मूर्तरूप दिया जा रहा है। इस महत्वाकांक्षी कार्यक्रम का उद्देश्य देश की किशोर जनशक्ति को वैज्ञानिक नवाचार की ओर आकर्षित करने और उद्यमिता (एन्टरप्रिन्योरशिप) के लिए प्रेरित व प्रोत्साहित करना है। भारत में सात हजार से अधिक अटल टिंकरिंग लैब्स हैं जो 30 लाख से अधिक छात्रों को समस्याओ को हल करने और नवाचार करने में मदद करती हैं। अटल टिंकरिंग लैब्स की स्थापना नीति आयोग द्वारा ‘अटल इनोवेशन मिशन’ कार्यक्रम के तहत की गयी है।