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महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण शिक्षा परिषद, उच्च शिक्षा विभाग, मानव संसाधन विकास मंत्रालय एवं बीटीयू के मध्य एमओयू सम्पन्न

– बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय ग्रामीण विकास एवं शोध पर करेगा कार्य
ग्रामीण विकास की अवधारणा से ही राष्ट्र का विकास संभव: कुलपति प्रो.एच.डी.चारण
बीकानेर, 22 नवम्बर। हाल ही में महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण शिक्षा परिषद, उच्च शिक्षा विभाग, मानव संसाधन विकास मंत्रालय, भारत सरकार एवं बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय के मध्यम एमओयू सम्पन्न हुआ है। इस अवसर पर परिषद् की चैयरमेन प्रसन्ना कुमार एवं विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.एच.डी.चारण नें समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए व इस एमओयू आदान-प्रदान किया।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण शिक्षा परिषद, उच्च शिक्षा विभाग, मानव संसाधन विकास मंत्रालय भारत सरकार एवं बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय, बीकानेर के मध्य सम्पन्न इस एमओयू के माध्यम से विश्वविद्यालय सामुदायिक स्वच्छता, समाजिक जागरूकता एवं उद्यमिता, प्रौढ़ साक्षरता, बालिका शिक्षा, जल प्रबंधन, उर्जा संरक्षण, ग्रामीण उद्यमिता विकास, सामाजिक जागरूकता, स्थानीय रोजगार, महिला सशक्तिरण, बुनियांदी अवसंरचना का विकास, ग्रामीण कृषक भाईंयांेे की कृषि के आधुनिकम एवं उन्नत तकनीको से अवगत कराना, पर्यावरण संरक्षण, सामुदायिक ऋण की उपलब्धता की जानकारी, रोजगार के अवसर, प्रचलित कुरूतियों का शमन, ग्रामीणों हेतु केंद्र व राज्य सरकार के विभिन्न लाभदायक योजनाएं, स्वास्थय संबंधी जागरूकता व अन्य महत्वपूर्ण मुद्दो पर कार्य करेगा। इस हेतु विश्वविद्यालय द्वारा एक कार्य-दल का भी गठन किया गया है।
इस अवसर पर कुलपति प्रो.एच.डी.चारण ने कहा कि सामाजिक उद्यमिता, स्वच्छता एवं ग्रामीण उद्यमिता क्षेत्र में हम ज्ञापन के माध्यम से कार्य करेंगें। हमारा मानना है कि हमारे गांव उन्नत एवं विकसीत होंगे तो हमारा देश और हम स्वयं विकसीत हो जाएंगे। पंचवर्षीय योजनाओं को माध्यम से भी सरकार ने ग्रामीण विकास को सशक्त करने का प्रयास किया है। इसके माध्यम से विद्यार्थियों को एक बार पुनः ग्रामीण संस्कृति से जुड़ाव का मौका मिलेगा व हमारे गांवो के देश भारत एक बार पुनः अपने मूल स्वरूप को प्राप्त करेगा साथ ही हमने प्रयास किया है कि हम अकादमिक कार्ययोजनाओें में इसे शामिल करें। इसका उद्देश्य छात्र का समग्र विकास है जिससे वह समाज की वास्तविक समस्याओं और सामाजिक विकास के लिए अपने कौशल और ज्ञान का प्रयोग कर सके।

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