BikanerRajasthan

बीकानेर का राजकीय मुद्रणालय फिर से होगा आरम्भ, ऊर्जा मंत्री डाॅ कल्ला के प्रयासों से मिली सफलता

5
(1)

– अन्यत्र पदस्थापित कार्मिकों को मिलेगा बीकानेर लौटने का अवसर

जयपुर/बीकानेर। बीकानेर की धरोहर वापस मिलने का समाचार बेहद गर्व और सुकून का विषय है। वरना इस सीधे साधे शहर के हालात ऐसे रहे हैं कि राजनीतिक नेतृत्व की शून्यता के चलते हर कोई यहां की धरोहर को लूटता नजर आ रहा था। कोई शिक्षा निदेशालय का टूकड़े टूकड़े कर यहां के महत्वपूर्ण अनुभाग ले गया। किसी ने एसबीबीजे को एसबीआई बैंक में विलय कर देश दुनिया से बीकानेर की पहचान मिटा दी। और तो और यहां के ऐतिहासिक राजकीय मुद्रणालय को भी अन्यत्र ले गये, लेकिन यह डाॅ बी डी कल्ला का प्रयासों के चलते लम्बे समय बाद फिर से बीकानेर को वापस मिलने जा रहा है।

जलदाय एवं ऊर्जा मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला के प्रयासों से बीकानेर में बंद पड़े राजकीय मुद्रणालय के फिर से संचालन का रास्ता साफ हो गया है। मुद्रण एवं लेखन सामग्री विभाग द्वारा बीकानेर मुद्रणालय को पुनः चालू करने का निर्णय लिया गया है। राज्य सरकार द्वारा इसके लिए मंजूरी प्रदान कर दी गई है। डॉ. कल्ला ने इसके लिए बीकानेर की जनता की ओर से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का आभार जताया है। डॉ. कल्ला की पहल से बीकानेर मुद्रणालय के पुनः आरम्भ होने से यहां पूर्व में पदस्थापित ऐसे कार्मिक जिनका अन्यत्र स्थानांतरण कर दिया गया था या उन्हें प्रतिनियुक्ति पर दूसरे स्थनों पर भेज दिया गया था, उन सबको वापस अपने मूल स्थान पर लौटकर कार्य करने का अवसर मिलेगा। मुद्रणालय की मशीनों को भी पूर्व की स्थिति में लाया जाएगा। मगर अब राजकीय मुद्रणालय के कर्मचारियों को कड़ी मेहनत के साथ कार्य करते हुए श्रेष्ठ परिणाम देना होगा, इसका राज्य सरकार के स्तर से सतत मूल्यांकन किया जाएगा। उल्लेखनीय है कि गत दिनों राजकीय मुद्रणालय, बीकानेर को बंद कर भूमि राज्य अभिलेखागार के म्यूजियम को स्थानांतरित किए जाने के विरूद्ध दायर एसबी सिविल पिटीशन संख्या 3632/2108 तथा 6202/2018 के सम्बंध में अंतिम समाधान के लिए जयपुर के शासन सचिवालय में जलदाय एवं ऊर्जा मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला की अध्यक्षता में एक विशेष बैठक का आयोजन किया गया था। इस बैठक में राज्य के मुख्य सचिव, प्रशासनिक सुधार विभाग के प्रमुख शासन सचिव तथा मुद्रण एवं लेखन सामग्री विभाग के अधिकारी शरीक हुए। उक्त बैठक में डॉ. कल्ला ने बताया कि बीकानेर में अभिलेख म्यूजियम के लिए अलग से भूमि की आवश्यकता नहीं है। यहां हाल में अभिलेख म्यूजियम का उद्घाटन किया जा चुका है और इस सम्बंध में कला, साहित्य, संस्कृति एवं पुरातत्त्व विभाग की ओर से मुद्रण एवं लेखन सामग्री विभाग को सूचित किया जा रहा है। कला, संस्कृति एवं पुरातत्त्व मंत्री ने इस महत्त्वपूर्ण बैठक में मत प्रकट किया कि राज्य में क्षेत्रीय कार्य व्यवस्था के तहत जयपुर, जोधपुर, अलवर, उदयपुर एवं बीकानेर में राजकीय मुद्रणालय स्थापित है। बीकानेर संभाग के तहत बीकानेर में मुद्रणालय के बंद होने से यहां के मुद्रण सम्बंधी कार्य के लिए जयपुर जाना होगा, जिससे कार्य में अनावश्यक विलम्ब होगा और खर्चा भी बढे़गा। ऐसे में मुद्रण कार्य पर पड़ने वाले विपरीत प्रभाव को देखते हुए बीकानेर के राजकीय मुद्रणालय को फिर आरम्भ किया जा सकता है। इस महत्त्वपूर्ण बैठक के बाद मुद्रण एवं लेखन सामग्री विभाग की ओर से बीकानेर के राजकीय मुद्रणालय के सम्बंध में यह निर्णय लिया गया।डॉ. कल्ला ने बताया कि पूर्ववर्ती सरकार के समय बीकानेर से प्रारम्भिक शिक्षा के निदेशालय को जयपुर शिफ्ट कर दिया गया था, इसके साथ ही शिक्षा विभाग में ग्रांट इन एड से सम्बंधित कार्य भी बीकानेर से शिफ्ट कर दिए गए थे, जिनको उन्होंने संघर्ष करते हुए पुनः बीकानेर में शिफ्ट कराया। डॉ. कल्ला ने बताया कि गत सरकार के समय बीकानेर के तकनीकी विश्वविद्यालय को बंद करने का निर्णय ले लिया गया था, उस समय भी उन्होंने अपने साथियों के साथ भूख हड़ताल करते हुए संघर्ष किया, जिससे बीकानेर में तकनीकी विश्वविद्यालय फिर चालू हुआ।

How useful was this post?

Click on a star to rate it!

Average rating 5 / 5. Vote count: 1

No votes so far! Be the first to rate this post.

As you found this post useful...

Follow us on social media!

Leave a Reply