17 मई से ग्रीष्मावकाश की तैयारियां में जुटा शिक्षा विभाग
सीकर। स्कूलों में बने पलायन सेंटर व सर्वे में अब तक ड्यूटी संभालने वाले 1.75 लाख से अधिक शिक्षकों के लिए राहतभरी खबर है। ऐसे शिक्षकों को 17 मई से ग्रीष्मकालीन अवकाश का मौका मिल सकता है। कोरोना की जंग में अब तक ड्यूटी नहीं करने वाले शिक्षकों को अब दूसरे चरण में ड्यूटी करनी होगी। शिक्षा राज्य मंत्री गोविन्द सिंह डोटासरा ने बताया कि जल्द नई व्यवस्था के आदेश जारी होंगे। विभाग परित्यक्ता, विधवा सहित जिन महिलाओं के दो साल से छोटे बच्चे हैं या फिर जिनकी सेवानिवृत्ति में दो साल से भी कम बचे हैं उनको छूट देने की योजना है। नामांकन व विद्यार्थियों-शिक्षकों के ग्रीष्माकालीन अवकाश को लेकर इसी सप्ताह में आदेश जारी होंगे।
17 मई से 30 जून तक ग्रीष्मकालीन अवकाश
शिक्षा विभाग शैक्षिक कलैण्डर के हिसाब से 17 मई से 30 जून तक ग्रीष्मकालीन अवकाश करने की तैयारी में जुटा है। शिक्षक सहित अन्य स्टाफ को 25 जून से स्कूलों में बुलाया जा सकता है। विद्यार्थियों को एक जुलाई से बुलाने की योजना है। वहीं योग दिवस के उत्सव को लेकर उस दौरान ही कोई निर्णय होगा।
बोर्ड परीक्षाओं को लेकर नए सिरे से रिव्यू
कक्षा दसवीं व बारहवीं की शेष बोर्ड परीक्षाओं को लेकर शिक्षा विभाग नए सिरे से रिव्यू करेगा। सोशल डिस्टेंस के आधार पर परीक्षा कराने को लेकर विभाग की तैयारी पूरी है। लेकिन लॉकडाउन में बच्चों के परीक्षा केंद्र पर पहुंचने के लिए आवागमन सहित अन्य व्यवस्थाओं को देखकर विभाग कोई फैसला लेगा।
इनका कहना है
कोरोना से जंग लंबी चल रही है। ऐसे में जो शिक्षक लगातार स्कूल व सर्वे में ड्यूटी कर रहे हैं उनके स्थान पर रोटेशन से दूसरे शिक्षकों को लगाया जाएगा। स्कूलों में शैक्षिक कलैण्डर के हिसाब से 17 मई से ग्रीष्मकालीन अवकाश घोषित करने की योजना है।
गोविन्द सिंह डोटासरा, शिक्षा मंत्री