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फिर छिड़ी बात फूलों की, रात है या…

*माँड गायक पं. चिरंजीलाल तंवर की स्मृति में संगीत समारोह और अवार्ड सेरेमनी का आयोजन*

*मशहूर संगीतकार जोड़ी उस्ताद अली गनी , प्रेरणा श्रीमाली, फारूक आफरीदी, तिलक गीतई, इकराम राजस्थानी और आरडी अग्रवाल को अवार्ड से नवाजा*

जयपुर 16 दिसंबर। सुप्रसिद्ध माँड गायक पंडित चिरंजीलाल तंवर की स्मृति में संगम- ए मिक्स आफ़ आर्ट एण्ड कल्चर द्वारा जवाहर कला केन्द्र के रंगायन सभागार में संगीत समारोह और अवार्ड सेरेमनी का आयोजन किया गया जिसमें वरिष्ठ साहित्यकार नन्द भारद्वाज मुख्य अतिथि रहे।
अवार्ड सेरेमनी में चालीस से अधिक फिल्मों और ख्यातनाम गायकों की 50 से अधिक एलबम्स में लोकप्रिय संगीत देने वाले म्यूजिक डायरेक्टर और अन्तर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त मांड गायक जोड़ी उस्ताद अली गनी ने अपनी सुमधुर और दिलों को छू लेने वाली सांगीतिक प्रस्तुति दी। मशहूर शायर मखदूम मोहियुद्दीन की गजल ‘फिर छिड़ी बात फूलों की, रात है या बारात फूलों की, और छाप तिलक सब छीनी रे मो से नैन मिलाई’ सुनाकर उपस्थित सुधि श्रोताओं और संगीत रसिकों का मन मोह लिया । उनकी प्रस्तुति के दौरान बार बार
करतल ध्वनि होती रही। इस संगीत जोड़ी ने माँड़ राग से जुड़ी कई मनमोहक रचनाएँ भी प्रस्तुत की।

अवार्ड सेरेमनी के दौरान संगीत नाटक अकादमी अवार्ड से विभूषित संगीतकर उस्ताद अली गनी, जयपुर घराने की कथक नृत्यांगना प्रेरणा श्रीमाली, वरिष्ठ साहित्यकार फारूक आफरीदी, चित्रकार पद्मश्री तिलक गीतई, गीतकार इकराम राजस्थानी और प्रमुख उद्घोषक आरडी अग्रवाल को चिरंजीलाल तंवर अवार्ड से नवाजा गया।

इस मौके पर लखनऊ से कथक नृत्यांगना एमिली घोष ने भी शानदार कथक पेश किया जिसे दर्शकों ने खूब सराहा। समारोह के दौरान पद्मश्री स्व.अर्जुन प्रजापत, स्व. जयकुमार पंवार और स्व. जटाशंकर डांगी को मरणोपरांत सम्मानित किया गया। पंडित चिरंजीलाल तंवर के पुत्र और संगम के अध्यक्ष सुनील सिंह ने सभी का स्वागत किया।

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