मानवीय मूल्य शिक्षा को उच्च शिक्षा में शामिल करने पर बनी सहमति
*यूजीसी चेयरमैन के साथ मुलाकात*
बीकानेर। नई दिल्ली में यूजीसी के नवनियुक्त चेयरमैन प्रोफेसर एम जगदीश के साथ मुलाकात के बाद उच्च शिक्षा में मानवीय मूल्य शिक्षा को राष्ट्रीय शिक्षा नीति की अपेक्षा के अनुरूप शामिल करने के लिए सहमति बनी है। नेशनल कमेटी ऑफ ह्यूमन वैल्यू एजुकेशन के चेयरमैन प्रो.एचडी चारण ने बताया कि एआईसीटीई द्वारा इस विषय पर अब तक किए गए कार्यों का प्रेजेंटेशन देखने के बाद यूजीसी चेयरमैन ने यूजीसी एवम् एआईसीटीई की संयुक्त समिति बनाने का निर्णय किया।
इस समिति की पहली बैठक में इस की कार्य योजना तैयार की गई। प्रारंभ में तीन ओरियंटेशन वर्कशॉप करने का तय किया गया। फर्स्ट यूजीसी के सभी अधिकारियों के लिए ताकि वे इस विषय को गहराई से समझ सके, सेकेंड केंद्रीय विश्वविद्यालयों के कुलपतियों के लिए, थर्ड यूजीसी के सभी ह्यूमन रिसोर्स सेंटर के डायरेक्टर एवं डिप्टी डायरेक्टर के लिए। इसमें देश में यूजीसी के 66 एमएचआरडी सेंटर है जो शिक्षकों के लिए ओरियंटेशन के कार्यशाला चलाते हैं। इन सेंटर के माध्यम से मानवीय मूल्यों की वर्कशॉप करने का निर्णय लिया गया।
इस बैठक में प्रो एमपी पूनिया, वाइस चेयरमैन एआईसीटीई, डॉ राजीव कुमार मेंबर सेक्रेट्री एआईसीटीई, सभी रीजनल ऑफिसर, प्रो एचडी चारण चेयरमैन नेशनल कमिटी ऑफ ह्यूमन वैल्यू एजुकेशन, प्रोफेसर रजनीश अरोड़ा चेयरमैन स्टूडेंट इंडक्शन प्रोग्राम, राजू अस्ताना वाइस चेयरमैन ऑफ कमेटी, डॉ अर्चना ठाकुर जॉइंट सेक्रेटरी यूजीसी, डॉक्टर गोपी कुमार ज्वाइंट सेक्रेट्री यूजीसी, डॉक्टर दीक्षा राजपूत डिप्टी सेक्रेटरी यूजीसी एवं समिति के अन्य सदस्यों के लिऐ ने भाग लिया। सभी ने यूजीसी के इस निर्णय की सराहना की। यूजीसी का यह निर्णय राष्ट्रीय शिक्षा नीति की अपेक्षाओं को पूरा करने में सहायक सिद्ध होगा।